JK News: श्रीनगर में आत्मघाती हमले का षड्यंत्र विफल, लश्कर कमांडर समेत तीन आतंकी ढेर
श्रीनगर: सुरक्षाबलों ने श्रीनगर में एक बड़े आत्मघाती हमले के षड्यंत्र को सफलतापूर्वक विफल करते हुए लश्कर के डिवीजनल कमांडर उस्मान उर्फ छोटा वलीद को मार गिराया। इस कार्रवाई के दौरान चार सुरक्षाकर्मी भी घायल हुए हैं और आतंकियों का ठिकाना बना एक मकान पूरी तरह से ध्वस्त हो गया है।
आत्मघाती हमले की योजना का पर्दाफाश
सूत्रों के अनुसार, सुरक्षाबलों को सूचना मिली थी कि लश्कर के आतंकवादी श्रीनगर शहर में एक बड़ा आत्मघाती हमला करने की योजना बना रहे हैं, जो जम्मू-कश्मीर विधानसभा के सत्र शुरू होने से पहले होने की संभावना थी। इस जानकारी के आधार पर, पुलिस ने शहर में आने-जाने के सभी रास्तों पर चौकसी बढ़ा दी।
तड़के, पुलिस को खानयार इलाके के ठंग मोहल्ले में आतंकियों की गतिविधियों की सूचना मिली। इसके तुरंत बाद, जम्मू-कश्मीर पुलिस के विशेष अभियान दल (एसओजी) और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के जवानों ने इलाके को घेर लिया और तलाशी अभियान शुरू किया।
मुठभेड़ की शुरुआत और सुरक्षाबलों की कार्रवाई
जैसे ही सुरक्षाबल आतंकियों के ठिकाने की ओर बढ़े, आतंकियों ने गोलीबारी शुरू कर दी। सुरक्षाबलों ने भी जवाबी फायर किया, जिससे मुठभेड़ शुरू हो गई। इस दौरान सुरक्षाबलों ने आतंकियों को आत्मसमर्पण करने के लिए कई बार मौके दिए। इसके अलावा, उन्होंने आसपास के मकानों से लोगों को सुरक्षित निकालने का प्रयास किया, जिसमें आतंकियों का ठिकाना बना मकान भी शामिल था।
मुठभेड़ के दौरान, सीआरपीएफ के दो और एसओजी के दो जवान घायल हो गए। घायलों को तुरंत अस्पताल भेजा गया, जहां उनकी स्थिति स्थिर बताई जा रही है। इसी बीच, आतंकियों के ठिकाने में एक बड़ा धमाका हुआ, जिससे आग लग गई।
उस्मान का प्रयास और अंत
इस दौरान, उस्मान ने मकान से भागने की कोशिश की, लेकिन सुरक्षाबलों की गोलीबारी में वह मारा गया। मुठभेड़ सुबह आठ बजे शुरू हुई और शाम चार बजे तक जारी रही। इस कार्रवाई में सुरक्षाबलों को उस्मान के पास से एक एसाल्ट राइफल, मैगजीन और अन्य उपकरण भी मिले हैं।
आतंकी उस्मान का काला इतिहास
कश्मीर के आईजीपी वीके बिरदी ने उस्मान के मारे जाने की पुष्टि करते हुए कहा कि वह कश्मीर में एक दर्जन से अधिक आतंकवादी घटनाओं में लिप्त था। उस पर 15 लाख का इनाम घोषित था। जानकारी के अनुसार, वह कश्मीर में लश्कर और टीआरएफ के बीच एक कड़ी के रूप में काम कर रहा था। पिछले कुछ समय में, उसने कई श्रमिकों की लक्षित हत्या में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
उस्मान का संबंध अफगानिस्तान के तालिबान आतंकियों से भी रहा है। वह श्रीनगर में किसी बड़े आतंकवादी हमले की योजना बना रहा था, जो अब उसके मारे जाने के साथ विफल हो गया है।
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अनंतनाग में भी मुठभेड़
इसी दिन, दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग में भी सुरक्षाबलों ने एक अन्य मुठभेड़ में दो आतंकियों को ढेर कर दिया। इस ऑपरेशन के दौरान भी सुरक्षाबलों ने विभिन्न क्षेत्रों में चौकसी बढ़ा दी थी, ताकि किसी भी प्रकार की आतंकी गतिविधियों को समय रहते रोका जा सके।
सुरक्षाबलों की सतर्कता और सक्रियता
इस प्रकार की घटनाओं में सुरक्षाबलों की सक्रियता महत्वपूर्ण है। वे केवल आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर रहे हैं, बल्कि नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए भी प्रयासरत हैं। घटनास्थल पर तुरंत प्रतिक्रिया देकर, सुरक्षाबल न केवल आतंकियों के मंसूबों को विफल करते हैं, बल्कि आसपास के नागरिकों को भी सुरक्षित निकालने का कार्य करते हैं।
अंत में
श्रीनगर में हुई इस मुठभेड़ ने यह साबित कर दिया है कि सुरक्षाबल किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार हैं। आतंकवादियों के खिलाफ चलाए जा रहे इन अभियानों से यह स्पष्ट है कि कश्मीर में शांति स्थापित करने के लिए सुरक्षाबल प्रतिबद्ध हैं। ऐसे घटनाक्रम सुरक्षा एजेंसियों की मेहनत और संयम का परिणाम हैं, जो आतंकवाद के खिलाफ उनकी निरंतर लड़ाई को दर्शाते हैं।