विदेश मंत्रालय के एक बयान में कहा गया कि प्रधानमंत्री ने दोनों देशों के बीच एक vibrant link के रूप में भारतीय समुदाय की भूमिका और द्विपक्षीय संबंधों को strengthen करने में उनके योगदान की सराहना की। बयान के अनुसार, ब्रुनेई में भारतीयों का आगमन 1920 के दशक में oil discovery के साथ शुरू हुआ था। आज के समय में, लगभग 14,000 भारतीय ब्रुनेई में रह रहे हैं।
पीएम मोदी ब्रुनेई में उमर अली सैफुद्दीन मस्जिद का दौरा भी किया, जिसे वर्तमान सुल्तान के पिता ने बनवाया था। उन्होंने भारतीय उच्चायोग में नए ‘Chancery’ परिसर का उद्घाटन भी किया। दोनों जगहों पर मोदी ने भारतीय प्रवासियों से मुलाकात की। धार्मिक मामलों के मंत्री पेहिन दातो उस्ताज अवांग बदरुद्दीन ने मस्जिद में प्रधानमंत्री का स्वागत किया। मोदी ने मस्जिद के इतिहास को दर्शाने वाला एक वीडियो भी देखा। यह मस्जिद ब्रुनेई के 28वें सुल्तान उमर अली सैफुद्दीन तृतीय (वर्तमान सुल्तान के पिता, जिन्होंने इसका निर्माण शुरू किया था) के नाम पर रखी गई है, और इसका निर्माण 1958 में पूरा हुआ था।
ब्रुनेई से पीएम मोदी बुधवार को सिंगापुर के लिए रवाना होंगे, जहां वह राष्ट्रपति थर्मन शनमुगरत्नम, प्रधानमंत्री लॉरेंस वोंग, वरिष्ठ मंत्री ली सीन लूंग, और गोह चोक टोंग से मुलाकात करेंगे। पीएम सिंगापुर के business community के नेताओं से भी मिलेंगे।
पीएम मोदी आज सुल्तान हसनअल बोल्किया के साथ bilateral talks करेंगे। दौरे के दूसरे दिन, पीएम मोदी सुल्तान के शानदार निवास, इस्ताना नूरुल इमान पैलेस में मिलेंगे, जो दुनिया का सबसे बड़ा palace है और गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में दर्ज है। इस palace में 1,788 rooms, 257 bathrooms और 38 प्रकार के marble से बनी 44 staircases हैं। इस यात्रा के दौरान, ब्रुनेई के साथ defense cooperation, trade and investment, energy, space technology, health cooperation, capacity building, culture और लोगों के बीच exchange सहित सभी मौजूदा क्षेत्रों में दोनों देशों का collaboration और भी मजबूत होगा, और नए areas में cooperation के अवसर खोजे जाएंगे।